गुरुवार, 1 मार्च 2018

होली हो..

रंग अबीर गुलाल की होली,
डफली चंग धमाल की होली हो..
या रेशम के रूमाल की होली,
गाली या गुबार की होली हो..

भंग चढ़े या रंग की तरंग चढ़े,
या मस्तों की ठिठोली हो..
जिसकी जैसी टोली हो,
उसकी वैसी होली हो..

दही गुझिया खाएं
और मस्त हो जाएं..
होली खूब मनाएं..

अक्षिणी..

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